पुजारियों का बढ़ा मानदेय,  संस्कृत पाठशाला में बटुकों को मिलेगी छात्रवृति 

sadbhawnapaati
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:: 300 पुजारियों दल इन्दौर से पहुँचा भोपाल, प्रदेश के मुखिया शिवराज सिंह का किया सम्मान ::

इन्दौर। विश्व ब्राह्मण समाज संघ एवं अखिल भारतीय पुजारी महासंघ द्वारा प्रदेश के मुखिया शिवराज सिंह चौहान का बुधवार को 300 से ज्यादा पुजारियों ने इन्दौर से भोपाल पहुँचकर सम्मान किया। पुजारियों द्वारा प्रदेश के मुखिया का सम्मान उनके द्वारा पुजारियों की मांगे माने जाने पर किया।
विश्व ब्राह्मण समाज संघ पं. योगेंद्र महंत ने बताया कि परशुराम जयन्ती पर अखिल भारतीय पुजारी महासंघ की मांग पर पुजारियों के समस्याओं के निराकरण के लिए की गई घोषणाओं को मंजूरी दे दी है। जिसमे पुजारियों के हित में सभी मांगो को राज्य शासन में लागू किया गया। पुजारियों की मांगे मानने पर आज भोपाल निवास पर पहुँचकर सभी पुजारियों ने शिवराज सिंह चौहान का शाल श्रीफल भेंट कर सम्मानित किया। सम्मान समारोह में राष्ट्रीय अध्यक्ष महेश पुजारी, संतोष भार्गव, रूपेश मेहता, शिव शर्मा, महेश शर्मा पेंटर, पंकज शर्मा, शितिज उपाध्याय, राजेश बैरागी, महेंद्र सिंह बैस, अभिनव पालीवाल, रोहित बैरागी, राधेश्याम व्यास, गोपाल पूरी, दीपक पुजारी आदि मौजूद थे।
:: यह थी मांगे ::
राज्य सरकार ने पुजारियों की जिन मांगो को माना है उनमे मंदिर की कृषि भूमि नीलामी पर रोक लगाना, भूमिहीन पुजारियों का मानदेय 5000 हजार रुपए करना तथा संस्कृत पाठशालाओ में  बटुकों को छात्रवृति की सुविधा भी अब मिल सकेगी। इसी के साथ कुछ अन्य मांगे भी राज्य सरकार द्वारा मानी गई है। केंद्र सरकार ने पुजारियों की मांगे मानने व राज्य सरकार में लागू करने के जो आदेश जारी किए हैं। उससे प्रदेश भर के पुजारियों में हर्ष व्यापत है।
:: शिवराज ने कहा मैं स्वयं पुजारियों का सम्मान करता हूँ ::
मुख्य मंत्री शिवराज सिंह चौहान ने इस अवसर पर संबोधित करते हुए कहा की मैं पुजारियों से सम्मान नही करवाता हूँ। बल्कि सनातन धर्म व संस्कृति का पालन करते हुए मैं स्वयं पुजारियों का सम्मान करता हूं ओर उनके चरण वंदन करके उनसे आशीर्वाद प्राप्त कर प्रदेश से सुख, समृद्धि व शांति के साथ प्रदेश में सरकार व शांति वाला राज्य स्थापित करना चाहता हूँ।
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