Religious And Spiritual News – मेहंदीपुर बालाजी मंदिर के महंत किशोर पुरी का निधन, अंतिम दर्शन को उमड़ा जनसैलाब

By
sadbhawnapaati
"दैनिक सदभावना पाती" (Dainik Sadbhawna Paati) (भारत सरकार के समाचार पत्रों के पंजीयक – RNI में पंजीकृत, Reg. No. 2013/54381) "दैनिक सदभावना पाती" सिर्फ एक समाचार...
2 Min Read

विश्व प्रसिद्ध धार्मिक स्थल मेहंदीपुर बालाजी ट्रस्ट (Mehndipur Balaji Trust) के अध्यक्ष महंत किशोर पुरी (Mahant Kishore Puri) का रविवार को देवलोक गमन हो गया है. महंत किशोर पुरी ने जयपुर में अंतिम सांस ली. जैसे ही महंत किशोर पुरी के निधन का समाचार मिला तो संपूर्ण क्षेत्र में शोक की लहर छा गई. धार्मिक नगरी मेहंदीपुर बालाजी के बाजार बंद हो गए. वहीं मेहंदीपुर बालाजी मंदिर के पट बंद कर दिए गए. महंत किशोर पुरी करीब 88 वर्ष के थे और पिछले काफी समय से अस्वस्थ चल रहे थे.

जयपुर में निधन के बाद एंबुलेंस के माध्यम से उनके शव को मेहंदीपुर बालाजी लाया गया. इस दौरान हजारों की संख्या में मेहंदीपुर बालाजी के निवासी और श्रद्धालुओं ने महंत किशोर पुरी को श्रद्धांजलि दी. महंत किशोर पुरी की पार्थिव देह को अंतिम दर्शन के लिए मेहंदीपुर बालाजी मंदिर के आरती हॉल में रखा गया है. सोमवार को उनकी पार्थिव देह को पंचतत्व में विलीन किया जाएगा. महंत किशोर पुरी की पार्थिव देह के अंतिम दर्शन के लिए मेहंदीपुर बालाजी में जन सैलाब उमड़ पड़ा. जैसे ही मेहंदीपुर बालाजी में पार्थिव देह को लेकर एंबुलेंस पहुंची तो सभी लोग हाथ जोड़कर खड़े हुए नजर आए. सबकी आंखें नम थीं.

महंत किशोर पुरी एक धर्मगुरु के साथ-साथ समाजसेवी भी थे. उन्होंने मेहंदीपुर बालाजी में बालिकाओं के लिए निशुल्क महाविद्यालय संचालित कर रखा था. साथ ही उनके द्वारा मेहंदीपुर बालाजी में अस्पताल का भी संचालन किया जाता था. महंत किशोर पुरी बालिका शिक्षा पर जोर देते थे, इसी के चलते वे प्रतिवर्ष बड़ी संख्या में बालिकाओं का सम्मान करते थे. अब तक उन्होंने प्रदेश की लाखों स्कूली व कॉलेज बालिकाओं को सम्मानित किया है. महंत किशोरपुरी के निधन से दौसा सहित देशभर के जनप्रतिनिधियों अधिकारियों एवं लोगों ने शोक प्रकट कर संवेदना जताई है.

Share This Article
Follow:
"दैनिक सदभावना पाती" (Dainik Sadbhawna Paati) (भारत सरकार के समाचार पत्रों के पंजीयक – RNI में पंजीकृत, Reg. No. 2013/54381) "दैनिक सदभावना पाती" सिर्फ एक समाचार पत्र नहीं, बल्कि समाज की आवाज है। वर्ष 2013 से हम सत्य, निष्पक्षता और निर्भीक पत्रकारिता के सिद्धांतों पर चलते हुए प्रदेश, देश और अंतरराष्ट्रीय स्तर की महत्वपूर्ण खबरें आप तक पहुंचा रहे हैं। हम क्यों अलग हैं? बिना किसी दबाव या पूर्वाग्रह के, हम सत्य की खोज करके शासन-प्रशासन में व्याप्त गड़बड़ियों और भ्रष्टाचार को उजागर करते है, हर वर्ग की समस्याओं को सरकार और प्रशासन तक पहुंचाना, समाज में जागरूकता और सदभावना को बढ़ावा देना हमारा ध्येय है। हम "प्राणियों में सदभावना हो" के सिद्धांत पर चलते हुए, समाज में सच्चाई और जागरूकता का प्रकाश फैलाने के लिए संकल्पित हैं।