इंदौर में साढ़े 9 हजार बिजली बकायादारों को नोटिस जारी

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Indore News. नेशनल लोक अदालत का आयोजन शनिवार 10 जुलाई को होगा। इसके लिए अधिकाधिक प्रकरणों का समझौते के माध्यम से निराकरण करने के लिए बिजली कंपनी ने प्रभावी तैयारी की है। बिजली कंपनी ने इंदौर एवं उज्जैन क्षेत्र में कुल 62 हजार से ज्यादा नोटिस दिए हैं।

बिजली वितरण कंपनी के इंदौर-उज्जैन क्षेत्र के सभी 15 सिर्कल में लोक अदालत में ज्यादा से ज्यादा प्रकरणों के निराकरण के प्रयास किए जा रहे हैं। इन सर्कलों में कुल 44 स्थानों पर लोक अदालत शनिवार 10 जुलाई को आयोजित होने जा रही है। कंपनी ने 62 हजार ज्यादा उपभोक्ताओं/ उपयोगकर्ताओं को नोटिस दिए हैं। सीजीएम संतोष टैगोर ने बताया कि सबसे ज्यादा इंदौर शहर में 9466 नोटिस जारी किए गए हैं। इंदौर ग्रामीण में 8788, उज्जैन 8209, देवास में 9173, खंडवा में 1814, बुरहानपुर 918, खरगोन 1183, बड़वानी 4576, धार 5191, झाबुआ 624, आगर 2638, रतलाम 1859 मंदसौर 2977, नीमच वृत्त में 2131 लोगों को नोटिस दिए गए हैं। कंपनी के मुख्य सतर्कता अधिकारी कैलाश शिवा ने बताया कि विद्युत अधिनियम 2003 की धारा 126 तथा धारा 135 के तहत बिजली चोरी एवं अनियमितताओं के प्रकरणों में लोक अदालत में समझौता होगा।

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 प्री- लिटिगेशन स्तर के प्रकरणों में निम्नदाब श्रेणी के समस्त घरेलू, समस्त कृषि, किलोवॉट तक के गैर घरेलू एवं 10 अश्व शक्ति भार तक के औद्योगिक उपभोक्ताओं को छूट दी जाएगी। प्री लिटिगेशन स्तर पर सिविल दायित्व की राशि पर 30 प्रतिशत एवं ब्याज की राशि पर 100 प्रतिशत की छूट दी जाएगी। लिटिगेशन स्तर के प्रकरणों में सिविल दायित्व की राशि पर 20 प्रतिशत एवं ब्याज की राशि पर 100 प्रतिशत छूट दी जाएगी। समझौते वाले आवेदक को निर्धारित छूट के उपरांत शेष बिल आंकलित सिविल दायित्व एवं ब्याज की राशि का एकमुश्त भुगतान करना होगा। साथ ही उपभोक्ता / उपयोगकर्ता को विचाराधीन प्रकरण वाले परिसर एवं अन्य परिसरों पर उसके नाम पर किसी अन्य संयोजन / संयोजनों के विरुद्ध विद्युत देयकों की बकाया राशि का पूर्ण भुगतान भी करना होगा। लोक अदालत में छूट आवेदक द्वारा विद्युत चोरी/अनाधिकृत उपयोग पहली बार किए जाने की स्थिति में ही दी जाएगी। लोक अदालत कोविड प्रोटोकॉल के तहत आयोजित होगी।

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"दैनिक सदभावना पाती" (Dainik Sadbhawna Paati) (भारत सरकार के समाचार पत्रों के पंजीयक – RNI में पंजीकृत, Reg. No. 2013/54381) "दैनिक सदभावना पाती" सिर्फ एक समाचार पत्र नहीं, बल्कि समाज की आवाज है। वर्ष 2013 से हम सत्य, निष्पक्षता और निर्भीक पत्रकारिता के सिद्धांतों पर चलते हुए प्रदेश, देश और अंतरराष्ट्रीय स्तर की महत्वपूर्ण खबरें आप तक पहुंचा रहे हैं। हम क्यों अलग हैं? बिना किसी दबाव या पूर्वाग्रह के, हम सत्य की खोज करके शासन-प्रशासन में व्याप्त गड़बड़ियों और भ्रष्टाचार को उजागर करते है, हर वर्ग की समस्याओं को सरकार और प्रशासन तक पहुंचाना, समाज में जागरूकता और सदभावना को बढ़ावा देना हमारा ध्येय है। हम "प्राणियों में सदभावना हो" के सिद्धांत पर चलते हुए, समाज में सच्चाई और जागरूकता का प्रकाश फैलाने के लिए संकल्पित हैं।