Indore News. पश्चिम क्षेत्र के जिला अस्पताल के नक्शे में बदलाव के साथ ही अब काम की शुरुआत हो चुकी है। इसे 18 करोड़ रुपए की लागत से 18 महीने में हाउसिंग बोर्ड बनाने जा रहा है। यहां पहले चरण में 100 बेड की व्यवस्था है तो 300 बेड के अनुसार बिल्डिंग का निर्माण किया जा रहा है। यहां पर आकस्मिक सेवाओं के लिए जिला अस्पताल का नाम हमेशा से रहा है और इमरजेंसी सेवाएं 24 घंटे यहां रहती है, जिसमें से एमएलसी व पीएम के तहत भी 17 थानों के अंतर्गत यहां लाए जाते है।
हालांकि बिल्डिंग के नक्शे में थोड़ा सा परिवर्तन किया गया है और अब तीन मंजिला उक्त बिल्डिंग बनाई जा रही, जिसमें सर्जरी से लेकर बच्चों व महिलाओं के लिए सभी इलाज की सुविधा यहाँ रहेगी। अभी की स्थिति में बच्चों के लिए यह व्यवस्था बराबर नहीं है, लेकिन महिलाओं के ऑपरेशन से लेकर डिलीवरी तक की व्यवस्था है तो इमरजेंसी सेवाओं के तहत एमएलसी और पीएम के तहत भी यहां काम होता रहा है। जिला अस्पताल के अधिकारियों के मुताबिक यहां महिलाओं के लिए प्रसूति से लेकर गर्भवती महिलाओं की जांच आकस्मिक सुविधाएं के साथ-साथ बच्चों के हृदय की जांच टीकाकरण के लिए बेहतर स्थान भी यहां पर है। इसके अलावा आधार कार्ड से लेकर आयुष्मान कार्ड के लिए भी अलग से सुविधा यहाँ प्रदान की गई है।
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बिल्डिंग के भूमि पूजन के साथ ही इसके निर्माण कार्य की शुरुआत हो चुकी है और उक्त सभी सुविधाएं इस नई बिल्डिंग में मरीजों के लिए रहेगी तो दूसरे चरण में 300 बेड की व्यवस्था भी होगी ताकि किसी भी तरह से यहां मरीजों को परेशानी ना हो सके। दरअसल देखा जाए तो आकस्मिक सुविधाओं के लिए ही प्रमुख व्यवस्था हमेशा से की जाती रही है और इस इलाके का सबसे पुराना अस्पताल होने के कारण यहां अत्याधिक मरीजों की भीड़ भी रहती है। सिविल सर्जन डॉक्टर संतोष वर्मा ने बताया कि वर्तमान के अनुसार 3 मंजिला अस्पताल में 100 बेड की व्यवस्था होगी, लेकिन यह प्रयास है कि 300 बेड का पूर्ण अस्पताल तैयार किया जाए यानी तीन मंजिला अस्पताल बनेगा।
अभी की स्थिति में पहले चरण में हाउसिंग बोर्ड द्वारा 15 करोड़ की लागत से काम होगा और यहां सारी व्यवस्थाओं के साथ ही लगभग 50 करोड़ के आसपास खर्च पर पश्चिम क्षेत्र में एक बड़े अस्पताल की सौगात मिलने जा रही है।
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