अतिवृष्टि तथा बाढ़ से उत्पन्न होने वाली स्थितियों से निपटने के लिए एहतियात के रूप में पुख्ता इंतजाम 

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sadbhawnapaati
"दैनिक सदभावना पाती" (Dainik Sadbhawna Paati) (भारत सरकार के समाचार पत्रों के पंजीयक – RNI में पंजीकृत, Reg. No. 2013/54381) "दैनिक सदभावना पाती" सिर्फ एक समाचार...
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कलेक्टर मनीष सिंह ने की समीक्षा, आपदा प्रबंधन के संबंध में बैठक सम्पन्न
इन्दौर। इन्दौर जिले में मानसून काल की निकटता को दृष्टिगत रखते हुए अतिवृष्टि तथा बाढ़ से उत्पन्न होने वाली स्थितियों से निपटने के लिये आपदा प्रबंधन के संबंध में चर्चा हेतु आज रेसीडेंसी के सभाकक्ष में बैठक आयोजित की गई। बैठक की अध्यक्षता कलेक्टर मनीष सिंह ने की।

बैठक में अपर कलेक्टर पवन जैन, अजयदेव शर्मा, राजेश राठौर, आर.एस. मण्डलोई, जिला पंचायत सीईओ वंदना शर्मा, इन्दौर विकास प्राधिकरण के सीईओ आर.पी. अहिरवार सहित अन्य संबंधित विभागों के अधिकारी मौजूद थे। बैठक में बताया गया कि आगामी समय में अतिवृष्टि, बाढ़ तथा इससे उत्पन्न स्थितियों से निपटने के लिए एहतियात के रूप में पुख्ता इंतजाम किए जा रहे हैं। पूर्व सूचना तथा आकस्मिक स्थिति के दौरान सूचनाओं के आदान-प्रदान के लिए जिला स्तर पर आपदा नियंत्रण केंद्र (कंट्रोल रूम) स्थापित कर दिया गया है। आपातकालीन स्थितियों से निपटने के लिए भी पुख्ता इंतजाम किए जा रहे हैं। कलेक्टर मनीष सिंह ने निर्देश दिए कि मानसून के दौरान बिजली की आपूर्ति सतत बनाए रखी जाए। यशवंत सागर के गेट खोलने के पूर्व नागरिकों को पूर्व सूचना दी जाए। खदानों में विशेष निगरानी रखी जाए तथा उनके संचालकों से फेंसिंग कराई जाए। शहर में पानी निकासी की पर्याप्त व्यवस्था रखें। जलजमाव वाले स्थानों को पूर्व से चिन्हित कर एहतियात के रूप में तैयारी रखें। पूल और पुलियाओं पर विशेष ध्यान रखें। वहां चेतावनी संबंधी बोर्ड भी लगाए जाएं।
कलेक्टर मनीष सिंह ने कहा है कि पहुंच विहीन गांवों की सूची पूर्व से ही तैयार कर लें तथा वहां पर्याप्त मात्रा में खाद्यान्न का भंडारण किया जाए। बैठक में बताया गया कि होमगार्ड द्वारा पर्याप्त संख्या में बचाव एवं राहत दल बनाए जा रहे हैं। कलेक्टर मनीष सिंह ने कहा की मानसून के दौरान शुद्ध पेयजल की उपलब्धता बनाए रखी जाए। आकस्मिक स्थिति के दौरान बनाए जाने वाले राहत शिविरों के लिए स्थानों का चयन अभी से कर लिया जाय। मानसून के दौरान जिले के जलीय पर्यटन क्षेत्रों के लिए प्रतिबंधात्मक आदेश जारी किए जा रहे हैं, जिससे कि सुरक्षा के व्यापक प्रबंध वहां पर रह सकें।
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"दैनिक सदभावना पाती" (Dainik Sadbhawna Paati) (भारत सरकार के समाचार पत्रों के पंजीयक – RNI में पंजीकृत, Reg. No. 2013/54381) "दैनिक सदभावना पाती" सिर्फ एक समाचार पत्र नहीं, बल्कि समाज की आवाज है। वर्ष 2013 से हम सत्य, निष्पक्षता और निर्भीक पत्रकारिता के सिद्धांतों पर चलते हुए प्रदेश, देश और अंतरराष्ट्रीय स्तर की महत्वपूर्ण खबरें आप तक पहुंचा रहे हैं। हम क्यों अलग हैं? बिना किसी दबाव या पूर्वाग्रह के, हम सत्य की खोज करके शासन-प्रशासन में व्याप्त गड़बड़ियों और भ्रष्टाचार को उजागर करते है, हर वर्ग की समस्याओं को सरकार और प्रशासन तक पहुंचाना, समाज में जागरूकता और सदभावना को बढ़ावा देना हमारा ध्येय है। हम "प्राणियों में सदभावना हो" के सिद्धांत पर चलते हुए, समाज में सच्चाई और जागरूकता का प्रकाश फैलाने के लिए संकल्पित हैं।