आरटीओ में फिटनेस के समय वाहनों में रिफ्लेक्टर टेप लगाने के मामले ने तूल पकड़ लिया है। विशेष कंपनियों को ठेका दिए जाने का इंदौर ट्रक एंड ट्रांसपोर्ट एसोसिएशन ने विरोध किया है। उन्होंने मुख्यमंत्री को पत्र लिख कर इस पर तुरंत रोक लगाने की मांग की है।
एसोसिएशन के अध्यक्ष सीएल मुकाती ने लिखे पत्र में लिखा है कि मध्यप्रदेश में वाहनों के फिटनेस प्रमाण पत्र प्राप्त करने के लिए वाहनों पर पीले, लाल, सफेद रंग का रेडियम टेप लगाना अनिवार्य है। केंद्र सरकार के केंद्रीय सड़क परिवहन एवं राजमार्ग मंत्रालय ने देश में एआइएस-090 अप्रूव टेस्टिंग सर्टिफिकेट नियम 126 सेंट्रल मोटर व्हीकल एक्ट 1989 के अंतर्गत रजिस्टर्ड कंपनियों की रेडियम टेप को मान्यता दी है। लेकिन मध्यप्रदेश में परिवहन विभाग चुनिंदा कंपनियों से एग्रीमेंट कर रहा है। मुकाती ने आरोप लगाया कि जिन कंपनियों ने रिश्वत दी है। उन्हें ही रेडियम टेप लगाने का अधिकार दिया जा रहा है। जो अनुचित है, क्योंकि चुनिंदा कंपनी वाहन चालकों को लूटने लगेगी, मनमानी कर अधिक दाम रेडियम टेप के वसूलेगी। इसलिए आपसे निवेदन है कि जिस गाड़ी पर केंद्रीय मंत्रालय द्वारा अधिकृत रजिस्टर्ड कंपनी की रेडियम टेप जिस भी वाहन पर लगा है उसका फिटनेस किया जाए। जिस वाहन पर टेप अधिकृत कंपनी की है। उस वाहन को दोबारा रेडियम टेप लगाने के लिए मजबूर नहीं किया जाए। इससे वाहन मालिकों को राहत मिलेगी और भष्ट्राचार के मामलों में भी कमी आएगी। अभी कोरोना के कारण लगे लाकडाउन और डीजल की कीमतों के कारण पहले ही ट्रांसपोटर्स परेशान है। मनमानी कीमत की शिकायत आरटीओ की जाती है तो उसका कोई हल नहीं निकलता है।