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अतीक के असद के आतंक का अंत – माफिया अतीक का बेटा असद व शूटर गुलाम एनकाउंटर में मारे गए

Atiq Ahmed Encounter यूपी एसटीएफ ने माफिया डॉन अतीक अहमद के बेटे असद को एनकाउंटर ने मार गिराया है। गौरतलब है ‎कि असद उमेश पाल हत्याकांड का मुख्य आरोपी था। इसके अलावा एक शूटर गुलाम को भी यूपी एसटीएफ ने एनकाउंटर में मार गिराया है।
यूपी एसटीएफ के मुताबिक माफिया से नेता बने अतीक अहमद के बेटे असद और गुलाम पुत्र मकसूदन, दोनों प्रयागराज के उमेश पाल हत्याकांड में वांछित थे और प्रत्येक पर पांच-पांच लाख रुपये का इनाम था। झांसी में यह एकाउंटर हुआ और इनके  पास से विदेशी निर्मित अत्याधुनिक हथियार बरामद हुए है।
घटना क्रम के अनुसार 25 जनवरी 2005 को बसपा विधायक राजू पाल की हत्या के बाद तत्कालीन जिला पंचायत सदस्य उमेश पाल ने पुलिस को बताया था कि वह हत्याकांड का चश्मदीद गवाह है। उमेश पाल ने आरोप लगाया कि जब उन्होंने अतीक अहमद के दबाव में पीछे हटने और झुकने से इनकार कर दिया, तो 28 फरवरी, 2006 को बंदूक की नोक पर उनका अपहरण कर लिया गया। प्राथमिकी 5 जुलाई, 2007 को अहमद, उनके भाई और चार अज्ञात लोगों के खिलाफ दर्ज की गई थी।
यहां गौरतलब है ‎कि उमेश पाल की इसी साल 24 फरवरी को उनके प्रयागराज आवास के बाहर गोली मारकर हत्या कर दी गई थी। अतीक अहमद और उनके भाई अशरफ पर जेल में रहते हुए उमेश पाल को मारने की साजिश में शामिल होने का आरोप लगाया गया है। फैसला सुनाए जाने के समय अतीक अहमद, उसका भाई अशरफ और एक अन्य आरोपी अदालत में मौजूद थे। अतीक अहमद के साथ दोषी ठहराए गए दो अन्य लोगों में दिनेश पासी और शौकत हनीफ शामिल हैं। इनको भी आजीवन कारावास की सजा दी गई है।
बेटे के एनकाउंटर की खबर सुन कोर्ट में फूट-फूटकर रोया अतीक अहमद
प्रयागराज कोर्ट में अतीक अहमद की पेशी के दौरान जब उसको असद के एनकाउंटर की खबर मिली तो कोर्ट में ही फूट-फूटकर रो दिया. इसके अलावा अशरफ भी हैरान रह गया. इसके अलावा जब अतीक को कोर्ट के बाहर निकाला गया तो उस पर जूता भी फेंका गया.

योगी सरकार के छह सालों में 10 हजार से अधिक एनकाउंटर, 23,125 अपराधी गिरफ्तार

देश के सबसे बड़े सूबे उत्तर प्रदेश की साल 2017 में बागडोर संभालने वाले मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने सबसे पहले कानून व्यवस्था की स्थिति में सुधार को प्राथमिकता दी। सरकार ने अपराध के प्रति जीरो टालरेंस की नीति अपना रखी है।
उपलब्ध आंकड़ों के अनुसार, 2017 के बाद से 10,713 एनकाउंटर हुए हैं, जिनमें से सबसे अधिक 3,152 एनकाउंटर मेरठ पुलिस द्वारा किए गए, जिसमें 63 अपराधी मारे गए और 1,708 गिरफ्तार किए गए। इसके बाद आगरा पुलिस है, जिसने 1,844 मुठभेड़ों को अंजाम दिया, जिसमें 14 खूंखार अपराधी मारे गए, 4,654 गिरफ्तार किए गए, जबकि 55 पुलिस कर्मी घायल हुए।
भारतीय जनता पार्टी (बीजेपी) धर्म के नाम पर एनकाउंटर करती है, एनकाउंटर इस तरह होते रहे, तब कोर्ट और जज किस लिए बने हैं? क्‍या अब अदालतों को बंद कर दिया जाना चाहिए –  ओवैसी
झूठे एनकाउंटर करके भाजपा सरकार सच्चे मुद्दों से ध्यान भटकाना चाह रही है, ट्वीट कर कहा, भाजपा के लोग न्यायालय में विश्वास ही नहीं करते हैं। आज के और हालिया एनकाउंटरों की भी गहन जाँच-पड़ताल हो और दोषियों को छोड़ा न जाए। सही-गलत के फैसलों का अधिकार सत्ता का नहीं होता है, भाजपा भाईचारे के खिलाफ है- अखिलेश यादव
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