नेपाल सरकार की भारतीय नागरिकों पर सख्ती, बिना परिचय पत्र नहीं कर पाएँगे नेपाल में प्रवेश

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नेपाल आने वाले भारतीय नागरिकों के प्रवेश पर नेपाल सरकार ने सख्ती बरतने का फैसला किया है. अब तक बिना किसी रोक टोक के सड़क मार्ग से सीधे नेपाल प्रवेश करने वाले भारतीयों को आज से नेपाल प्रवेश करने पर परिचय पत्र दिखाना अनिवार्य कर दिया गया है.

नेपाल सरकार के गृह मंत्री बालकृष्ण खांड ने शनिवार को एक आदेश पर हस्ताक्षर करते हुए भारतीय नागरिकों के नेपाल प्रवेश में नए नियमों को लागू करने का आदेश जारी कर दिया है. नेपाल की स्थानीय मीडिया कान्तिपुर दैनिक ने गृह मंत्रालय के सूत्रों के हवाले से यह खबर प्रकाशित की है कि नेपाल की सुरक्षा परिषद की बैठक की सिफारिश के बाद नेपाल के कार्यवाहक प्रधानमंत्री समेत रहे गृहमंत्री खांड ने उस निर्णय पर हस्ताक्षर कर दिया है, जिसमें भारतीय नागरिकों के नेपाल प्रवेश करने पर परिचय पत्र को अनिवार्य कर दिया गया है.

नेपाल सरकार के तरफ से यह दलील दी जा रही है कि खुली सीमा का फायदा उठाते हुए तीसरे देश के नागरिक आसानी से नेपाल में प्रवेश कर जाते हैं जिससे नेपाल की सुरक्षा के लिए खतरा पैदा हो सकता है. हाल ही में 11 अफगानिस्तानी नागरिक भारत के रास्ते नेपाल में प्रवेश कर गए थे. हालांकि उनके पास भी भारतीय परिचय पत्र था, लेकिन जांच में पता चला कि वो सब परिचय पत्र फर्जी था. अफगानिस्तान के नागरिकों के पास से फर्जी आधार कार्ड मिलने के बाद से दोनों देशों की सुरक्षा एजेंसियों में हड़कंप मच गया था. बाद में जांच से पता चला कि इन अफगान नागरिकों ने पंजाब से आधार कार्ड हासिल किया था.

नेपाल सरकार के इस फैसले को लागू करना थोडा मुश्किल हो सकता है. सड़क मार्ग से नेपाल में घूमने आने वालों के लिए परिचय पत्र रखना या दिखाना कोई बड़ी बात नहीं, लेकिन सीमावर्ती क्षेत्र में रहने वाले दिन में कई बार सीमा पार करते हुए रोजमर्रा के काम या व्यापार के सिलसिले में आने जाने वालों के लिए यह नया आदेश परेशानी का सबब बन सकता है. नेपाल के तरफ से यह निर्णय तो लागू कर दिया है. साथ ही कूटनीतिक माध्यम से भारत को भी इस प्रकार का नियम लागू करने के लिए अनुरोध किया है. नेपाल को यह अच्छी तरह से मालूम है कि उसके अकेले इस निर्णय को लागू करना उतना आसान भी नहीं है व्यावहारिक भी नहीं है.

हाल ही में बेंगलुरु में भारत नेपाल की सुरक्षा संबंधी दो दिवसीय बैठक में भी इस विषय को उठाया गया था. नेपाल भारत की खुली सीमा का फायदा उठाकर किसी तीसरे देश के नागरिक द्वारा सीमा पार की घटना पर रोक लगाने को लेकर संयुक्त रूप से कारगर कदम उठाने पर भी चर्चा हुई थी.

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