यूक्रेन-रूस युद्ध के बीच राहत की खबर : यूक्रेन से लौटे मेडिकल छात्रों की ऑनलाइन कक्षाएं शुरू

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Education News. रूस-यूक्रेन में युद्ध के कारण मेडिकल की पढ़ाई कर रहे छात्रों के भविष्य की अनिश्चितताओं को दूर करते हुए वहां के मेडिकल विश्वविद्यालयों ने ऑनलाइन कक्षाएं शुरू कर दी हैं। दरअसल यूक्रेन पर रूस के हमले के बाद भारतीय विद्यार्थियों को पढ़ाई बीच में ही छोड़ कर मजबूरन भारत लौटना पड़ा है। सरकार ने ऑपरेशन गंगा के तहत यूक्रेन से 20,000 से अधिक भारतीयों को सुरक्षित निकाला है। इनमें ज्यादातर मेडिकल के छात्र हैं, जो वहां पढ़ाई कर रहे थे।

देश से हर साल मेडिकल शिक्षा पाने के लिए बड़ी संख्या में छात्र यूक्रेन जाते हैं और वहां के विश्वविद्यालयों में दाखिला लेते हैं। ज्यादातर मेडिकल यूनिवर्सिटी पश्चिमी यूक्रेन में हैं और रूसी सेना द्वारा लगातार भारी गोलाबारी के बीच प्रत्यक्ष क्लास चलाना नामुमकिन है। इसलिए उन्होंने सोमवार से ऑनलाइन क्लास शुरू कर दीं। भारतीय छात्रों का कहना है कि उनके शिक्षक लगातार बमबारी के बीच अपने-अपने घरों या सुरक्षित स्थानों से क्लास ले रहे हैं। डेनिलो हेलित्स्की लवीव नेशनल यूनिवर्सिटी के कुछ छात्रों को डीन कार्यालय से 14 मार्च को क्लास शुरू होने की सूचना मिली थी।

फिलहाल चार यूनिवर्सिटी में पढ़ाई शुरू

सोमवार से लवीव नेशनल मेडिकल यूनिवर्सिटी, इवानो फ्रैंकिव्स्क नेशनल मेडिकल यूनिवर्सिटी, विनित्सिया नेशनल पिरोगोव मेडिकल यूनिवर्सिटी और बोगोमोलेट्स नेशनल मेडिकल यूनिवर्सिटी ने ऑनलाइन क्लासेस शुरू कर दी हैं। कई भारतीय छात्रों ने बताया कि अन्य मेडिकल यूनिवर्सिटी भी कुछ दिनों में ऑनलाइन क्लास शुरू करने की योजना बना रही हैं।

भारत ने विदेशी नागरिकों को भी निकाला : डॉ जयशंकर

विदेश मंत्री डॉ एस जयशंकर ने राज्यसभा में बताया कि युद्धग्रस्त यूक्रेन से सरकार ने 20 हजार भारतीयों सहित विदेशी नागरिकों को भी निकाला है। विदेश मंत्री ने यूक्रेन के हालात और ऑपरेशन गंगा पर जानकारी देते हुए कहा, भारत के वसुधैव कुटुम्बकम के सिद्धांत के तहत युद्धग्रस्त क्षेत्र से विदेशी नागरिकों को भी सुरक्षित निकाला गया। इनमें 18 देशों के 147 नागरिक शामिल हैं। कई यूक्रेनियन को भी भारत लाया गया है।

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