देशभर के विश्वविद्यालयों के लिए यूजीसी ने तैयार की नई रिसर्च इंटर्नशिप पॉलिसी, चार वर्षीय डिग्री प्रोग्राम के लिए दूसरे और चौथे वर्ष में इंटर्नशिप अनिवार्य 

By
sadbhawnapaati
"दैनिक सदभावना पाती" (Dainik Sadbhawna Paati) (भारत सरकार के समाचार पत्रों के पंजीयक – RNI में पंजीकृत, Reg. No. 2013/54381) "दैनिक सदभावना पाती" सिर्फ एक समाचार...
2 Min Read

Education News. विश्वविद्यालय अनुदान आयोग ने नई शिक्षा नीति की तर्ज पर उच्च शिक्षा और अनुसंधान संस्थानों में शिक्षकों और शोधकर्ताओं के साथ ‘रिसर्च इंटर्नशिप’ के लिए मसौदा दिशानिर्देश तैयार किए हैं।
आयोग ने तय किया है कि अनुसंधान इंटर्नशिप दो प्रकार की होगी। पहली इंटर्नशिप छात्र की रोजगार क्षमता बढ़ाने के लिए और दूसरी इंटर्नशिप छात्र की व्यक्तिगत शोध योग्यता विकसित करने के लिए होगी।

दूसरे और चौथे वर्ष में इंटर्नशिप अनिवार्य

यूजीसी के नए नियमों के अनुसार, शैक्षणिक सत्र 2022-23 से जो चार वर्षीय डिग्री प्रोग्राम के सत्र शुरू होने जा रहे हैं उनमें दूसरे और चौथे साल में छात्रों को अनिवार्य रिसर्च इंटर्नशिप करनी होगी।
नियमों के अनुसार, चार वर्षीय डिग्री पाठ्यक्रम का पहला साल पूरा होने पर कम से कम 10 क्रेडिट होने जरूरी हैं। इस प्रकार चार वर्षीय डिग्री प्रोग्राम के पूरा होने तक 40 क्रेडिट अंक होने चाहिए। जबकि चौथे वर्ष में रिसर्च क्षेत्र पर 10 क्रेडिट होने जरूरी होंगे।
जल्द साझा होगा रिसर्च पॉलिसी का ड्राफ्ट
यूजीसी की उच्च स्तरीय विशेषज्ञ समिति ने रिसर्च पॉलिसी को तैयार किया है। जल्द ही यूजीसी इस ड्राफ्ट रिसर्च पॉलिसी को राज्यों और विश्वविद्यालयों समेत रिसर्च संस्थानों को साझा करेगी।
जहां अभी तक आईआईटी, एनआईटी, आईआईआईटी समेत एआईसीटीई के इंजीनियरिंग कॉलेजों के प्रोफेशनल प्रोग्राम के छात्र इंडस्ट्री में जाकर अपनी इंटर्नशिप करते थे, लेकिन रिसर्च एरिया के छात्रों के लिए कोई इंटर्नशिप पॉलिसी नहीं थी।

इंटर्नशिप सभी रिसर्च क्षेत्र के छात्रों के लिए अनिवार्य

अब चार वर्षीय डिग्री प्रोग्राम में रिसर्च एरिया के छात्र इंडस्ट्री के अलावा रिसर्च इंस्टीट्यूट, रिसर्च लैब, रिसर्च एंड डेवलपमेंट इंस्टीट्यूट, किसी भी विश्वविद्यालय या कॉलेज के रिसर्च प्रोफेसर के अधीनस्थ अपनी इंटर्नशिप कर सकेंगे।
यह इंटर्नशिप सभी रिसर्च क्षेत्र के छात्रों के लिए अनिवार्य होगी। इसमें एक हफ्ते में कम से कम 45 घंटे की रिसर्च को देने जरूरी होंगे। इस प्रकार कुल 10 हफ्तों में यह 450 घंटे होंगे। इसी के आधार पर सर्टिफिकेट और डिप्लोमा भी मिलेगा।
Share This Article
Follow:
"दैनिक सदभावना पाती" (Dainik Sadbhawna Paati) (भारत सरकार के समाचार पत्रों के पंजीयक – RNI में पंजीकृत, Reg. No. 2013/54381) "दैनिक सदभावना पाती" सिर्फ एक समाचार पत्र नहीं, बल्कि समाज की आवाज है। वर्ष 2013 से हम सत्य, निष्पक्षता और निर्भीक पत्रकारिता के सिद्धांतों पर चलते हुए प्रदेश, देश और अंतरराष्ट्रीय स्तर की महत्वपूर्ण खबरें आप तक पहुंचा रहे हैं। हम क्यों अलग हैं? बिना किसी दबाव या पूर्वाग्रह के, हम सत्य की खोज करके शासन-प्रशासन में व्याप्त गड़बड़ियों और भ्रष्टाचार को उजागर करते है, हर वर्ग की समस्याओं को सरकार और प्रशासन तक पहुंचाना, समाज में जागरूकता और सदभावना को बढ़ावा देना हमारा ध्येय है। हम "प्राणियों में सदभावना हो" के सिद्धांत पर चलते हुए, समाज में सच्चाई और जागरूकता का प्रकाश फैलाने के लिए संकल्पित हैं।