मध्यप्रदेश में कोरोना कर्फ्यू अभी जारी रहेगा और हाल फिलहाल अभी किसी भी जिले में कर्फ्यू से छूट मिलने की संभावना नहीं है। गांव में बढ़ते संक्रमण के चलते सरकार का अब पूरा फोकस गांव पर हो गया है और मुख्यमंत्री ने लोगों से नीम-हकीम को चक्कर में नहीं पड़ने की अपील की है।
प्रदेश की जनता के नाम अपने संबोधन में मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने कहा है कि प्रदेश में संक्रमण दर घटी है। कोरोना संक्रमण दर की जो दर 24% तक पहुंच गई थी, जो अब 11.8% हो गई है। साप्ताहिक पॉजिटिविटी दर भी 14.8% हो गई है। प्रदेश में कोरोना के नए प्रकरण 8087 आए हैं, परंतु अभी बिल्कुल भी ढिलाई नहीं करनी है,पूरी कड़ाई के साथ कोरोना के विरूद्ध जंग लड़नी है।
कोरोना को खत्म करने के पांच सूत्र : मुख्यमंत्री ने कोरोना प्रबंधन रणनीति बताते हुए कहा कि प्रदेश में कोरोना को समाप्त करने के लिए पाँच सूत्रों आईडेंटिफाई,आयसोलेट,टेस्ट, ट्रीट तथा वैक्सीनेट अर्थात् मरीज की पहचान करना,उसे अलग करना, कोरोना की जाँच करना, कोरोना का इलाज करना तथा सभी का वैक्सीनेशन करना। मुख्यमंत्री ने कहा कि कोरोना कर्फ्यू के माध्यम से संक्रमण की चेन तोड़ने का कार्य किया जा रहा है तथा किल कोरोना अभियान के माध्यम से मरीजों की पहचान कर उनकी जांच कर उनका इलाज किया जा रहा है। साथ ही प्रदेश में 18 वर्ष से ऊपर वालों तथा 45 वर्ष से ऊपर वालों का वैक्सीनेशन भी किया जा रहा है।
मुख्यमंत्री ने कहा कि कोरोना का अगर पहले पता चल जाए तो सभी स्वस्थ हो जाते हैं। इसलिए सर्दी, जुकाम, खांसी, बुखार आदि किसी भी बीमारी को छुपाओ मत,बताईये। हम आपको तुरंत नि:शुल्क इलाज कराएंगे।
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नीम-हकीम के चक्कर में न पड़ें : मुख्यमंत्री ने कहा कि किल कोरोना अभियान में ग्रामों एवं कस्बों में सर्वे दल घर-घर जा रहे हैं। सर्दी, जुकाम, बुखार आदि बीमारी होने पर छुपाएं नहीं बताएं। वे तुरंत आपको नि:शुल्क मेडिकल किट देंगे,आपकी जांच कराएंगे तथा कोविड पाए जाने पर आपको होम आइसोलेशन,कोविड केयर सेंटर अथवा आवश्यकता होने पर अस्पताल में भर्ती कराएंगे। किसी नीम हकीम के चक्कर में न पड़े,बीमारी को बताएं तथा इलाज कराएं।
मुख्यमंत्री ने कहा कि जिला, गाँव एवं ब्लॉक स्तर पर क्राइसिस मैनेजमेंट समूह बनाए गए हैं जो वहां की कोरोना संबंधी सारी व्यवस्थाएं देख रहे हैं। गाँव-गाँव में स्वास्थ्य समितियां भी बनाई जा रही हैं। एक स्वास्थ्य समिति में तीन जनप्रतिनिधि तथा दो सरकारी कर्मचारी रखे गए हैं।
तीसरी लहर से निपटने की तैयारी :
कोरोना की संभावित तीसरी लहर से निपटने के लिए सरकार ने अभी से तैयारी शुरु कर दी है। प्रदेश में अगले एक महीने में 2400 स्वास्थ्य कर्मियों की भर्ती की जाएगी। जिनमें 800 डॉक्टर, 800 नर्स तथा 800 टेक्नीशियन होंगे। इसके अलावा स्वास्थ्य सुविधाओं का विस्तार करते हुए 5000 ऑक्सीजन बेड, 01हजार आई.सी.यू बेड तथा 500 बेड्स बच्चों के लिए बढ़ाए जाने के साथ प्रदेश में 100 से ज्यादा ऑक्सीजन प्लांट लगाए जा रहे हैं।
कोरोना की संभावित तीसरी लहर से निपटने के लिए सरकार ने अभी से तैयारी शुरु कर दी है। प्रदेश में अगले एक महीने में 2400 स्वास्थ्य कर्मियों की भर्ती की जाएगी। जिनमें 800 डॉक्टर, 800 नर्स तथा 800 टेक्नीशियन होंगे। इसके अलावा स्वास्थ्य सुविधाओं का विस्तार करते हुए 5000 ऑक्सीजन बेड, 01हजार आई.सी.यू बेड तथा 500 बेड्स बच्चों के लिए बढ़ाए जाने के साथ प्रदेश में 100 से ज्यादा ऑक्सीजन प्लांट लगाए जा रहे हैं।
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