इंदौर मंडी घोटाला: भ्रष्ट नाकेदार को हटाते ही Choithram Mandi में 9 दिन में बढ़ गई 29 लाख रुपए की आय

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sadbhawnapaati
"दैनिक सदभावना पाती" (Dainik Sadbhawna Paati) (भारत सरकार के समाचार पत्रों के पंजीयक – RNI में पंजीकृत, Reg. No. 2013/54381) "दैनिक सदभावना पाती" सिर्फ एक समाचार...
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चोइथराम मंडी के नाके से भ्रष्ट नाकेदार के पकड़ में आने के बाद से मंडी में हुए कई अन्य घोटाले भी उजागर हुए थे। इसके बाद नए मंडी सचिव ने संयुक्त संचालक से मिलकर मंडी की आय बढ़ाने और घोटाले रोकने को लेकर नई रणनीति बनाई। इसी कड़ी में मंडी के नाके पर काम कर रही पुराने कर्मचारियों की टीम को पूरी तरह से बदल दिया गया। इसके 9 दिन बाद ही चोइथराम मंडी की आय पिछले साल की तुलना में 29 लाख रुपए बढ़ गई। चोइथराम मंडी के नाके पर पिछले साल जो टीम थी उसके पूरे स्टाफ के 6 सदस्यों को 28 सितंबर को बदल दिया गया। इसके बाद 29 सितंबर से नई टीम ने काम संभाला। नौ दिन में ही 29 लाख रुपए का ज्यादा राजस्व मिल चुका है। जबकि मंडी में सबसे ज्यादा आवक वाली वस्तुओं में शामिल लहसुन और प्याज के भाव इस साल के मुकाबले पिछले साल चार गुना से भी ज्यादा थे। पिछले साल लहसुन के भाव 300 रुपए किलो तक के थे और इस साल 70 रुपए प्रति किलो हैं।

वहीं, प्याज के भाव 45 से 50 रुपए पिछले साल थे। वर्तमान में 25 से 30 रुपए किलो हैं। कृषि उपज मंडी समिति के सचिव राजेश द्विवेदी ने इंदौर में 25 सितंबर को पदभार ग्रहण किया था। उसके बाद कृषि उपज मंडी समिति के संयुक्त संचालक चंद्रशेखर वशिष्ट के साथ कर्मचारियों की बैठक लेकर मंडी की छवि को सुधारने के लिए प्रयास शुरू किए। इसी कड़ी में मात्र नौ दिन में ही परिणाम सामने आने लगे हैं।

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"दैनिक सदभावना पाती" (Dainik Sadbhawna Paati) (भारत सरकार के समाचार पत्रों के पंजीयक – RNI में पंजीकृत, Reg. No. 2013/54381) "दैनिक सदभावना पाती" सिर्फ एक समाचार पत्र नहीं, बल्कि समाज की आवाज है। वर्ष 2013 से हम सत्य, निष्पक्षता और निर्भीक पत्रकारिता के सिद्धांतों पर चलते हुए प्रदेश, देश और अंतरराष्ट्रीय स्तर की महत्वपूर्ण खबरें आप तक पहुंचा रहे हैं। हम क्यों अलग हैं? बिना किसी दबाव या पूर्वाग्रह के, हम सत्य की खोज करके शासन-प्रशासन में व्याप्त गड़बड़ियों और भ्रष्टाचार को उजागर करते है, हर वर्ग की समस्याओं को सरकार और प्रशासन तक पहुंचाना, समाज में जागरूकता और सदभावना को बढ़ावा देना हमारा ध्येय है। हम "प्राणियों में सदभावना हो" के सिद्धांत पर चलते हुए, समाज में सच्चाई और जागरूकता का प्रकाश फैलाने के लिए संकल्पित हैं।
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