खरगोन. मध्य प्रदेश के खरगोन जिले में रामनवमी यात्रा के दौरान उपद्रवियों ने पत्थरबाजी की थी. इस घटना के बाद पुलिस अब एक्शन मोड में आ गई है. अब तक पुलिस ने 84 लोगों को गिरफ्तार किया है.
50 से ज्यादा जगहों पर कार्रवाई की गई है. इसके साथ ही अफवाह फैलाने के लिए 3 शासकीय कर्मचारियों को नौकरी से बर्खास्त किया है और एक को सस्पेंड किया गया है.
इसकी जानकारी सोमवार को कमिश्नर पवन शर्मा ने दी है. बता दें कि खरगोन में रामनवमी के दिन बवाल हो गया था. यहां रामनवमी जुलूस पर एक समुदाय विशेष ने पथराव कर दिया था.
साथ ही कई क्षेत्रों में आगजनी और तोड़फोड़ भी की गई थी. तनाव बढ़ने के बाद पुलिस ने मौके पर पहुंचकर मामला संभाला था. अब पुलिस पत्थरबाजों के खिलाफ एक्शन में आ गई है.
सोमवार को भारी पुलिस बल की मौजूदगी में जिला प्रशासन की टीम बुलडोजर लेकर छोटी मोहन टॉकीज क्षेत्र में पहुंची. पुलिस ने आरोपियों के मकान और दुकानों को ढहा दिया. बता दें कि मोहन टाकीज शहर के संवेदनशील क्षेत्रों में आता है.

दिग्विजय सिंह ने कार्रवाई का किया था विरोध
बता दें कि प्रशासन द्वारा आरोपियों के खिलाफ की गई कार्रवाई के कांग्रेस ने विरोध किया है. मप्र के पूर्व मुख्यमंत्री दिग्विजय सिंह ने इसको लेकर लेकर ट्वीट किया है.
इसमें सिंह ने कहा कि ‘मामू का बुलडोज़र बलात्कार करने वालों पर और बलात्कारियों को सहयोग देने वालों पर नहीं चलता. केवल शक्ल देख कर बुलडोज़र चलाए जा रहे हैं’.
बता दें कि हमले के बाद प्रदेश के मुख्यमंत्री सीएम शिवराज सिंह ने आरोपियों के खिलाफ कार्रवाई करने के आदेश दिए थे. सीएम शिवराज सिंह ने कहा था कि हमले के आरोपियों की पहचान कर ली गई है.
आरोपियों को छोड़ नहीं जाएगा. सीएम ने कहा था कि रामनवमी पर हुई यह घटना दुर्भाग्यपूर्ण है. आरोपियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी.
छिन गई नौकरी
मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक दंगाईयों के अवैध निर्माण को तोड़ने के साथ ही कुछ कर्मचारियों के खिलाफ भी कार्रवाई की गई है. जानकारी के मुताबिक इन कर्मचारियों के बवाल में शामिल होने की जानकारी मिली थी.
जानकारी के अनुसार 4 शासकीय कर्मचारियों में से 3 की सेवा को समाप्त कर दिया गया है. वहीं एक कर्मचारी को सस्पेंड किया गया है. पुलिस ने बताया कि जीरो टोलरेंस पॉलिसी के तहत यह कार्रवाई की गई है