MP पंचायत चुनाव: मुख्यमंत्री, गृहमंत्री, नगरीय विकास और आवास मंत्री दिल्ली तलब, दोनों पार्टी OBC को रिझाने में लगी 

sadbhawnapaati
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निर्वाचन आयुक्त का दावा- हर हाल में जून में होंगे चुनाव,  भाजपा और कांग्रेस दोनों 27% टिकट ओबीसी को देंगे, सुप्रीम कोर्ट ने रद्द कर दिया है आरक्षण

मप्र. मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान, गृहमंत्री नरोत्तम मिश्रा और नगरीय विकास और आवास मंत्री भूपेंद्र सिंह अचानक दिल्ली पहुंचे हैं। तीनों विशेष विमान से दिल्ली गए हैं।
उन्हें बीजेपी के राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा ने दिल्ली बुलाया है। दरअसल प्रदेश में पंचायत और नगरीय निकाय चुनाव को बिना OBC आरक्षण कराए जाने के सुप्रीम कोर्ट के निर्णय के बाद राजनीति गरमाई हुई है।
माना जा रहा है कि इस मुद्दे पर चर्चा के लिए पार्टी अध्यक्ष ने इन नेताओं को बुलाया है। सीएम शिवराज, गृहमंत्री मिश्रा और मंत्री भूपेंद्र सिंह सुप्रीम कोर्ट में मोडिफिकेशन एप्लीकेशन देने के लिए सॉलिसिटर जनरल तुषार मेहता और अधिवक्ताओं के पैनल से भी चर्चा कर करेंगे।
राज्य निर्वाचन आयोग ने भी सुप्रीम कोर्ट के फैसले के बाद प्रदेश में चुनाव कराने को लेकर बैठक की। इसमें चुनाव आयुक्त ने साफ कर दिया कि 24 मई से पहले दोनों चुनाव के लिए अधिसूचना जारी कर दी जाएगी और किसी भी स्थिति में जून में चुनाव करा दिए जाएंगे। प्रदेश सरकार लगातार ओबीसी आरक्षण के साथ ही चुनाव कराने की बात कर रही है
मध्य प्रदेश में सुप्रीम कोर्ट के बिना ओबीसी आरक्षण के चुनाव कराने के फैसले के बाद राजनीति गरमा गई है। बीजेपी और कांग्रेस के नेता ओबीसी आरक्षण खत्म होने पर एक दूसरे पर आरोप-प्रत्योराप लगा रहे हैं।
सुप्रीम कोर्ट के फैसले के बाद बुधवार को राज्य निवार्चन आयोग ने बड़ी बैठक की। इस बैठक के बाद राज्य निवार्चन आयुक्त बंसत प्रताप सिंह ने कहा कि नगरीय निकाय चुनाव के लिए आयोग तैयार है। 12 जून तक एक चुनाव कराया जाएगा। 30 जून तक दोनों चुनाव कराए जाएंगे।

चुनाव कराना आसान

राज्य निर्वाचन आयुक्त बीपी सिंह ने कहा कि आज हमने इंटरनल बैठक की। यह देखने के लिए यदि हमें आज चुनाव कराने पड़े तो क्या हम इसके लिए तैयार हैं?
हमारी तैयारी उसके लिए भी पूरी तैयारी है। उच्चतम न्यायालय ने हमें दो हफ्ते का समय दिया है। हम दो हफ्ते के अंदर चुनाव की घोषणा कर देंगे। ग्रामीण और शहरी निकायों का परिसीमन पूरा हो चुका है।
नगरीय निकायों के परिसीमन और आरक्षण का काम हमारा तैयार है। उसके चुनावों की घोषणा हम आज ही कर सकते हैं। उसमें कोई कमी नहीं है। पंचायतों में परिसीमन हो गया है। उसमें आरक्षण अभी नहीं किया है।
आरक्षण के बिना हमें चुनावों की घोषणा करने में दिक्कत आएगी। हमें सुप्रीम कोर्ट के आदेश के अनुसार 2019 की व्यवस्था में जाना होगा।
तब से परिस्थितियां बदल गई हैं। बहुत-सी पंचायतें खत्म हो गई हैं। कुछ शहरी निकाय आ गए हैं। हम 2019 में जाते हैं तो थोड़ी उथल-पुथल होगी।

किसी भी स्थिति में हम 24 मई से पहले दोनों इलेक्शन डिक्लेयर कर देंगे। हमारी कोशिश होगी कि 30 जून तक हम चुनाव खत्म कर दें।

प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष कमलनाथ ने ऐलान किया है कि निकाय चुनाव में कांग्रेस 27% प्रत्याशी ओबीसी वर्ग से खड़े करेगी।
इसके कुछ ही देर बाद भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष वीडी शर्मा ने भी वादा कर दिया कि पार्टी भी 27% टिकट ओबीसी नेताओं को देगी। जहां जरूरत होगी, वहां यह प्रतिशत बढ़ाया भी जाएगा।

पूर्व मुख्यमंत्री और कांग्रेस प्रदेश अध्यक्ष कमलनाथ ने बयान जारी कर कहा कि हमें भाजपा सरकार से कोई उम्मीद नहीं है। उन्होंने दो साल तक कोई प्रयास नहीं किए। कोई कानून नहीं लाए।

संविधान में संशोधन हो सकता था, जिससे ओबीसी वर्ग को आरक्षण का लाभ मिलता, लेकिन इन्होंने कोई कोई कार्यवाही नहीं की। इस वजह से सुप्रीम कोर्ट ने ऐसा फैसला दिया है।
कांग्रेस पार्टी ने तय किया है कि आगामी निकाय चुनाव में पार्टी 27 प्रतिशत टिकट ओबीसी वर्ग के उम्मीदवारों को देगी। निकाय चुनाव में आरक्षण को लेकर बीजेपी और कांग्रेस नेताओं के बीच आरोप-प्रत्यारोप जारी है।

बीजेपी की सरकार सुप्रीम कोर्ट के फैसले के खिलाफ रिव्यू पिटीशन दाखिल करने के लिए विधि विशेषज्ञों से राय ले रही है।

दूसरी तरफ कोर्ट के फैसले के बाद राज्य निवार्चन आयोग ने भी चुनाव की तैयारी शुरू कर दी है। राज्य निर्वाचन आयुक्त बसंत प्रताप सिंह ने कहा कि जून में किसी भी हालत में चुनाव कराए जाएंगे।

वहीं, भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष वीडी शर्मा ने कहा कि कांग्रेस के नेता अरुण यादव प्रेस के जरिये बयान देकर गुमराह करना चाहते हैं। मैं यह साफ कर देना चाहता हूं कि मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने सारे दौरे रद्द कर कहा है कि पुनर्विचार याचिका लगाई जाएगी।

हम न्यायालय से अपील करेंगे कि पंचायत चुनावों में ओबीसी आरक्षण लागू हो सके। इसके बावजूद यह तो सिर्फ 27 प्रतिशत की बात है।
भारतीय जनता पार्टी के नेतृत्व ने यह गंभीरता के साथ कहा है कि हमारे ओबीसी वर्ग के उन सभी लोगों को जिन्हें जरूरत है, जो हमारे अच्छे कार्यकर्ता हैं, 27% ही क्यों उससे ज्यादा अवसर मिलेगा।
पंचायत चुनाव या किसी भी अन्य चुनावों में भाजपा संगठन वह करने को तैयार है।
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