देवास के स्टेशन रोड स्थित नई आबादी में मंगलवार शाम ढहे तीन मंजिला मकान के मलबे में दबने से दो लोगों की मौत हो गई। जबकि 10 लोगों को सुरक्षित बाहर निकाल लिया गया। रात डेढ़ बजे तक चले रेस्क्यू ऑपरेशन के बाद 9 लोगों को देवास जिला अस्पताल में भर्ती करवाया गया, जबकि 55 वर्षीय बसकर बी पत्नी अजीज खान और आफिया को इंदौर रैफर कर दिया गया। वहीं, मलबे में दबी सिमरन (23 साल) पिता फिरोज खान, रिहान (16 साल) पिता सोनू और सालभर के आहिल पिता आदिल को निकालने के लिए एनडीआरएफ, नगर निगम, पुलिस और पुलिस टीम को मशक्कत करना पड़ी। इन्हें देर रात कांक्रीट कटर, जेसीबी और क्रेनों की मदद से मलबे के नीचे से निकाला गया।
इनमें से सिमरन और आहिल काे बचाया नहीं जा सका। निगम कमिश्नर ने एहतियात बरती, डीएसपी उतरे मलबे के बीच रात में रेस्क्यू के लिए एनडीआरएफ की 30 सदस्यीय टीम ने मोर्चा संभाला। कैमरे डालकर तीनों कहां दबे थे, जानकारी ली और बचाव कार्य शुरू किया। इसके पहले नगर निगम कमिश्नर विशालसिंह चौहान और ट्रैफिक डीएसपी किरण शर्मा ने रेस्क्यू की कमान संभाल रखी थी। अंदर फंसे तीनाें लाेगाें की सलामती के लिए कमिश्नर ने एहतियात पूरी बरती। मशीनाें से केवल सहारा देने का काम किया। कांक्रीट का एक-एक हिस्सा कटर और क्रेन की सहायता से सावधानी से काटा। डीएसपी शर्मा जगह मिलने पर मलबे के नीचे उतर गए। पुलिस की कमान उन्हाेंने संभाली। कलेक्टर चंद्रमाैली शुक्ला, एसपी डाॅ. शिवदयाल सिंह ने भी पहुंचकर टीम काे जरूरी निर्देश दिए। तीन क्रेन, पांच जेसीबी, होम गार्ड की टीम के साथ रेस्क्यू चलाया। इन लाेगाें काे सुरक्षित निकाला मकान के मलबे से बस्कर बी (55) पति अजीज शेख, आफिया (8) पिता इरशाद उर्फ माेनू शेख, अक्शा (16) पिता जाकिर शेख, अंजुम (40) पति जाकिर शेख, अल्फेज (16) ईरशाद शेख, अलीशा (14) पिता जाकिर शेख, शिरिन (24) पति शहनावज, शबाना (40) पति फिराेज शेख, शिनम (15) पिता रशीद शेख और 16 साल के रेहान काे जिंदा निकाला गया। बस्कर बी और आफिया काे इंदाैर रैफर किया गया। बाकी का इलाज देवास जिला अस्पताल में चल रहा है। सभी खतरे से बाहर हैं।
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