मप्र। लगातार बारिश से जहां लोगों को गर्मी से राहत मिल गई है तो वहीं, जिन क्षेत्रों में जल भराव हुआ है वहां जनजीवन प्रभावित हो गया है। हालांकि लगातार हो रही बारिश से किसानों के चेहरे खुशी से खिल उठे हैं। किसानों ने बुआई शुरू कर दी है। किसानों का कहना है कि जुलाई में हो रही बारिश से फसलों को काफी लाभ होगा और वे तेजी से बढेंगी।
प्रदेश में लोग लंबे समय से झमाझम बारिश का इंतजार कर रहे थे। बीते तीन दिन से जारी बारिश के दौर ने लोगों को भीषण गर्मी से निजात दिलाते हुए वातावरण में ठंडक घोल दी है। तापमान में तेजी से गिरावट दर्ज की जा रही है। गुरुवार को प्रदेश का अधिकतम तापमान 28.3 और न्यूनतम तापमान 24.0 डिग्री दर्ज किया गया। सुहाने मौसम का मजा लेने के लिए लोग टूरिस्ट स्पॉट्स का रुख कर रहे हैं।
भोपाल समेत तीन जिलों में चार इंच बारिश
बीते 24 घंटों में नर्मदापुरम संभाग के अधिकांश स्थानों पर, भोपाल, शहडोल, ग्वालियर उज्जैन के अनेक स्थानों पर, इंदौर, रीवा, जबलपुर एवं चंबल संभाग के कुछ स्थानों पर बारिश दर्ज की गई। गुरुवार को दोपहर के बाद से झमाझम बारिश का दौर शुरू हुआ। हालांकि, कुछ जिलों में केवल बौछारें पड़ीं। भोपाल, सीहोर और होशंगाबाद जिले के कुछ हिस्सों में चार इंच बारिश दर्ज की गई। सीहोर, आष्टा, इछावर, बुधनी और होशंगाबाद में झमाझम बारिश के चलते निचली जगहों पर जलभराव हो गया। निचली बस्तियों में डेढ़ फीट तक पानी भर गया है। जलभराव के कारण आवाजाही में लोगों को परेशान भी हो रही है।
शुक्रवार को इन जिलों में भारी बारिश का अलर्ट
मौसम वैज्ञानिकों ने शुक्रवार को प्रदेश के 18 जिलों भोपाल, मंदसौर, आगर, राजगढ़, सागर, रायसेन, नीमच, इंदौर, गुना, सिवनी, अशोकनगर, सीधी, उज्जैन, अनूपपुर, शहडोल, उमरिया, सिंगरौली और बालाघाट में तेज हवाओं के साथ मध्यम वर्षा और आकाशीय बिजली चमकने की चेतावनी देते हुए ऑरेंज अलर्ट जारी किया है।
प्रदेश में एक्टिव सिस्टम
वर्तमान में पश्चिम-मध्य अरब सागर के ऊपर मध्य क्षोभमंडल में चक्रवातीय परिसंचरण ऊंचाई में दक्षिणी झुकाव के साथ सक्रिय है। वहीं पूर्व-पश्चिम ट्रफ पंजाब-हरियाणा से लेकर दक्षिणी उत्तर प्रदेश, पूर्वोत्तर मध्य प्रदेश, उत्तरी छत्तीसगढ़, झारखंड और प. बंगाल से होते हुए पूर्वोत्तर बंगाल की खाड़ी तक विस्तृत है। जबकि दक्षिणी गुजरात से उत्तरी कर्नाटक तट के समांतर अपतटीय ट्रफ समुद्र तल पर अवस्थित है। शुक्रवार द.प. मानसून के और आगे बढ़ने पर अब इसकी उत्तरी सीमा दीसा, रतलाम, उज्जैन, जयपुर, रोहतक, पठानकोट और जम्मू से गुजर रही है।