अधिकारियों ने वीरवार को यह जानकारी दी। एआईसीटीई के सदस्य सचिव राजीव कुमार ने कहा कि तकनीकी शिक्षा कार्यक्रम संचालित करने वाले सभी संबद्ध संस्थानों को एआईसीटीई से पूर्व अनुमति लेना जरूरी है। हालांकि, ऐसा पाया गया कि कुछ केंद्रीय, राज्य और निजी विश्वविद्यालय कुछ चुनिंदा कोर्स एवं कार्यक्रमों के लिये एआईसीटीई से आंशिक मंजूरी ले रहे हैं जिससे पक्षकारों के बीच भ्रम की स्थिति पैदा होती है।
विवि. एआईसीटीई द्वारा स्थापित नियमों व मानकों का करें पालन
उन्होंने कहा इसलिये एआईसीटीई ने निर्णय किया है कि विश्वविद्यालयों को तकनीकी कोर्स के संबंध में कोई आंशिक मंजूरी नहीं दी जायेगी ताकि पक्षकारों के बीच भ्रम की स्थिति न हो।
राजीव कुमार ने कहा कि उच्चतम न्यायालय ने व्यवस्था दी थी कि विश्वविद्यालयों को तकनीकी शिक्षा में नये विभाग या कोर्स की शुरूआत करने के लिये पूर्व अनुमति प्राप्त करने की जरूरत नहीं होती है। विश्वविद्यालयों की हालांकि यह जवाबदेही होती है कि वे एआईसीटीई के स्थापित मानकों एवं नियमों का पालन करें।