बता दें, सबसे अधिक गलत सवाल दसवीं के गणित के पेपर में छह पूछे गए हैं। जबकि बारहवीं के जीव विज्ञान, भौतिकी, रसायन शास्त्र, व्यवसाय अध्ययन, जीव विज्ञान सहित अन्य दो विषयों में सवाल गलत थे। साथ ही मंडल ने कॉपियों की जांच आदर्श उत्तर के अनुसार करने की व्यवस्था बनाई है।
मंडल ने इसके दिशा-निर्देश जारी कर दिए हैं। उल्लेखनीय है कि मंडल की दसवीं व बारहवीं की परीक्षाएं 17 फरवरी से शुरू हुई हैं।
दसवीं व बारहवीं की परीक्षा में करीब 18 लाख विद्यार्थियों की एक करोड़ 30 लाख कापियों के मूल्यांकन के लिए 30 हजार शिक्षकों को लगाया गया है।
नए पैटर्न पर हो रही परीक्षा
माशिमं इस साल नए पैटर्न पर परीक्षा आयोजित करा रहा है। साथ ही कई विषयों में 30 से 40 फीसद सिलेबस कम कर दिए हैं। इसके बावजूद कई विषयों में कटौती किए गए पाठ्यक्रम से सवाल पूछ लिए गए हैं।
यही नहीं कई विषयों में सवाल गलत भी पूछे गए हैं। दसवीं-बारहवीं के कुछ प्रश्न पत्रों में इस बार भी गलतियां निकली हैं। इन प्रश्नों को जिन विद्यार्थियों ने हल करने का प्रयास किया होगा, उन्हें निर्धारित अंक प्रदान किए जाएंगे।
इस तरह मिलेंगे बोनस अंक
दसवी
गणित: प्रश्न क्रमांक एक (1), प्रश्न क्रमांक 2(4), प्रश्न क्रमांक 2(5), प्रश्न क्रमांक 4(1), प्रश्न क्रमांक (2) गलत है। जबकि प्रश्न क्रमांक 5(3) का एक-एक अंक दिया जाएगा।
बारहवीं
व्यवसाय अध्ययन: प्रश्न क्रमांक 1(6) कम किए गए पाठ्यक्रम से दिया गया है। सभी को एक अंक बोनस दिया जाएगा।
भौतिकी: प्रश्न क्रमांक 1 (ई), प्रश्न क्रमांक 2 (2) व प्रश्न क्रमांक 16 है। इसमें प्रश्न क्रमांक 16 तीन अंक का है।
रसायनशास्त्र: प्रश्न क्रमांक 12 के अथवा का प्रश्न पाठ्यक्रम अनुसार नहीं पूछा गया है। साथ ही प्रश्न क्रमांक 17 का अथवा का (2) गलत है। इन प्रश्नों को हल करने वाले विद्यार्थियों को निर्धारित अंक प्रदान किए जाएंगे।
जीवविज्ञान: उत्तर क्रमांक 2 के 7 के उत्त्ार में 10 फीसद के स्थान पर 90 फीसद पढ़ते हुए मूल्यांकन किया जाए। साथ ही उत्तर क्रमांक 3 (7) के उत्त्ार में यूकेलिप्टस का पौधा के अतिरिक्त केले का पौधा लिखने पर भी अंक प्रदान किया जाए।
पशुपालन आफ हस्बेंड्री एंड मिल्क ट्रेड: पांच प्रश्न गलत है, जिसमें बोनस अंक मिलेगा।
हिंदी: वस्तुनिष्ठ प्रश्न क्रमांक 2(4) का सही उत्तर कम लिखा गया है। इसके स्थान पर सही उत्तर पढ़ते हुए मूल्यांकन किया जाए।
तीन स्तर पर बनते हैं पेपर
मंडल में बोर्ड परीक्षा के पेपर के कई सेट बनते हैं। यह भी तीन स्तर पर तैयार होते हैं। इसमें पेपर सेटर, मॉडरेटर व प्रश्न पत्र विश्लेषण होता है।
पेपर सेटर द्वारा प्रश्न पत्र बनाया जाता है। इसमें कोई गलती न हो, इसलिए माडरेटर इसे जांच करता है। इसके बाद प्रश्न पत्र विश्लेषक द्वारा जांच किया जाता है।
इनका कहना है
जितने विषयों की परीक्षाएं संपन्न हो गई हैं। उनका मूल्यांकन कार्य शुरू कर दिया है। उसके आदर्श उत्तर तैयार कराकर विशेषज्ञों से एनालिसिस कराते हैं। जितने विषयों में त्रुटि पाई गई है। उसमें विद्यार्थियों को बोनस अंक दिए जा रहे हैं।
– शशिकांत बनोठ, सचिव, माशिम