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अपन का इंदौर…. ये शहर नहीं दौर है जो समय से आगे चलता है फिर भी विरासत को समेटे रहता है- प्रधानमंत्री मोदी

हिंदी हैं हम..... वतन है हिंदुस्तान हमारा, सूरीनाम और गुयाना के राष्ट्रपति की हिंदी बोलने की सराहनीय कोशिश  
Pravasi Bharatiya Divas in Indore। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने प्रवासी भारतीय सम्मेलन का आगाज करते हुए इंदौर की तारीफ में खूब कसीदे पढ़ें। उन्होंने कहा कि हम सभी जिस शहर में है, वह अपने आप में अद्भुत है। लोग कहते हैं कि इंदौर एक शहर है। मैं कहता हूं कि इंदौर एक दौर है। यह वह दौर है जो समय से आगे चलता है। फिर भी विरासत को समेटे रहता है।
प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि प्रवासी भारतीय दिवस चार वर्षों के बाद मूल स्वरूप में, पूरी भव्यता के साथ लौट रहा है। अपनों के आमने-सामने की मुलाकात का, आमने-सामने की बात का अलग ही आनंद और महत्व होता है। उन्होंने यह भी कहा कि आप सभी के लिए यहां काफी कुछ है, जो इस यात्रा को अविस्मरणीय बनाएगा। पास ही में उज्जैन में भगवान महाकाल के महालोक का दिव्य और भव्य विस्तार हुआ है। आशा करता हूं कि आप सब वहां जाकर भगवान महाकाल का आशीर्वाद भी लेंगे। अद्भुत अनुभव का हिस्सा भी बनेंगे।
इंदौर भी अद्भुत है
मोदी ने कहा कि वैसे हम सभी जिस शहर में है, वह भी अपने आप में अद्भुत है। इंदौर ने स्वच्छता के क्षेत्र में अलग पहचान साबित की है। खाने-पीने के लिए अपन का इंदौर देश ही नहीं बल्कि पूरी दुनिया में लाजवाब है। इंदौर के नमकीन का स्वाद, यहां पोहे का जो पैशन है, साबुदाने की खिचड़ी, कचोरी-समोसे, शिकंजी… कहना ही क्या। जिसने भी इसे देखा, उसके मुंह का पानी नहीं रुका।
जिसने इसे चखा, उसने कहीं मुड़कर नहीं देखा। 56 दुकान और सराफा काफी प्रसिद्ध है ही। कुछ लोग इंदौर को स्वच्छता के साथ-साथ स्वाद की राजधानी भी कहते हैं। मुझे यकीन है कि आप यहां के अनुभव नहीं भूलेंगे। औरों को भी यहां आने को प्रेरित करेंगे।
शिवराज ने विवेकानंद से की मोदी की तुलना
शिवराज बोले कि सौ साल पहले एक नरेंद्र (यानी स्वामी विवेकानंद) ने कहा था कि महानिशा का अंत निकट है, अंधे देख नहीं सकते, बहरे सुन नहीं सकते लेकिन मैं देख सकता हूं कि भारत माता विश्वगुरु के पद पर आसीन हो रही है। एक नरेंद्र ने कहा था, और आज दूसरे नरेंद्र के नेतृत्व में यह साकार हो रहा है। पूरी दुनिया को वसुधैव कुटुंबकम के सूत्र में नरेंद्र मोदी जी बांध रहे हैं। उनके नेतृत्व में भारत कई मामलों में विश्व का नेतृत्व करे, मेरी यही कामना है।
क्या बोले सूरीनाम और गुयाना के राष्ट्रपति
अपने संबोधन की शुरुआत चंद्रिका प्रसाद संतोखी ने हिन्दी में की तथा साथ ही कहा कि जननी और मातृभूमि स्वर्ग से भी बढ़कर है। सुरीनाम के राष्ट्रपति ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के मां के निधन पर भी अपनी संवेदना प्रकट की। उन्होंने प्रवासी भारतीय सम्मेलन में मुख्य अतिथि बनाए जाने को लेकर भारत सरकार और मध्यप्रदेश का भी आभार प्रकट किया।
वहीं सम्मेलन में शामिल गुयाना के राष्ट्रपति मोहम्मद इरफान अली प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से काफी प्रभावित नजर आए। उन्होंने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के सबका साथ सबका विकास सबका विश्वास के नारे को सराहा। उन्होंने साफ तौर पर कहा कि इसके बिना कोई भी आगे नहीं बढ़ सकता है।
भारत प्रतिभाओं को निखारने में दुनिया में नंबर वन है। हम प्रवासियों के लिए भारत द्वारा चलाए जा रहे कई कार्यक्रमों से काफी कुछ सीख रहे हैं। उन्होंने प्रधानमंत्री के मां के निधन पर दुख जताते हुए कहा कि मोदी का हम आदर करते हैं कि जिस तरीके से उन्होंने अपनी जिम्मेदारी को संभाला वह काबिले तारीफ है।
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