राष्ट्रीय परीक्षण एजेंसी (एनटीए) नीट, जेईई, कैट, यूजीसी नेट, जी-पैट जैसी प्रतियोगी परीक्षाएं संपन्न कराती है। एनटीए की स्थापना भारतीय संस्था पंजीकरण अधिनियम-1860 के तहत की गई थी। यह एक स्वायत्त संस्था है जो देश के उच्च शिक्षण संस्थानों में प्रवेश एवं छात्रवृत्ति हेतु प्रवेश परीक्षाएं आयोजित कराती है। इस एजेंसी का उद्देश्य प्रवेश और भर्ती हेतु उम्मीदवारों की योग्यता का आकलन करने के लिए कुशल, पारदर्शी और अंतरराष्ट्रीय मानकों के आधार पर परीक्षण करना है। माध्यमिक शिक्षा मंडल द्वारा संबद्धता प्राप्त संस्थाओं में नियमित विद्यार्थियों के प्रवेश की तिथि बढ़ाकर 30 सितम्बर कर दी गई है।
फिलहाल सभी मेडिकल कॉलेजों, आईआईटी, आईआईआईटी, एनआईटी, सीएफटीआई और आईसीएआर-एयू के शैक्षणिक सत्र इन प्रवेश परीक्षाओं पर निर्भर हैं, जानिए एनटीए क्यों इन परीक्षाओं को जल्दी कराने पर जोर दे रहा है। यह एजेंसी ऑनलाइन माध्यम में परीक्षा आयोजित करवाती है जिसके लिए इसे ऐसे विद्यालयों एवं विश्वविद्यालयों का चयन करना होता है जहां पर सभी बुनियादी सुविधाएं उपलब्ध हों और परीक्षा के आयोजन से उनके शैक्षणिक दिनचर्या पर कोई प्रभाव न पड़े। एनटीए के लिए क्यों जरूरी है यह परीक्षा यह पूरी कवायद अकादमिक कैलेंडर को बचाने के लिए है। कई उम्मीदवारों के एक वर्ष को बचाने के लिए प्रवेश परीक्षाओं का संचालन करना आवश्यक है। इसलिए एनटीए का पूरा प्रयास है कि एक साल की बचत हो, भले ही सत्रों में थोड़ी देरी हो। नियमित विद्यार्थियों की प्रवेश तिथि 30 सितम्बर तक बढ़ी माध्यमिक शिक्षा मंडल द्वारा संबद्धता प्राप्त संस्थाओं में नियमित विद्यार्थियों के प्रवेश की तिथि बढ़ाकर 30 सितम्बर कर दी गई है। उल्लेखनीय है कि उच्च न्यायालय द्वारा पूर्व में 12 अगस्त तक प्रवेश प्रक्रिया पूर्ण करने के आदेश पारित किये गये थे। बाद में उच्च न्यायालय द्वारा 27 अगस्त को पारित आदेश के अनुक्रम में मंडल द्वारा नियमित विद्यार्थियों की प्रवेश की तिथि बढ़ाकर 30 सितम्बर कर दी गई है।
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